100 रुपये परीक्षा शुल्क, उद्योगों को सब्सिडी; गांधी मैदान से नीतीश के 4 बड़े ऐलान
100 रुपये परीक्षा शुल्क, उद्योगों को सब्सिडी; गांधी मैदान से नीतीश के 4 बड़े ऐलान
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने चुनावी साल में 4 नई घोषणाएं की हैं। स्वतंत्रता दिवस के मौके पर पटना के गांधी मैदान में अपने भाषण के दौरान नीतीश ने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे अभ्यर्थियों को बड़ी राहत दी। उन्होंने सभी तरह की प्रतियोगी परीक्षाओं के शुल्क को घटाकर 100 रुपये करने का ऐलान किया। साथ ही कहा कि मुख्य परीक्षा में अभ्यर्थियों से कोई शुल्क नहीं लिया जाएगा। इसके अलावा राज्य में 7 नए मेडिकल कॉलेज खोलने, उद्योग लगाने के लिए कारोबारियों को सब्सिडी देने और दिवाली-छठ पर दूसरे राज्यों से बिहार के लिए बसें चलाने की भी घोषणा की गई।
सीएम नीतीश ने अपने संबोधन में कहा कि वह साल 2005 में सत्ता में आने के बाद से ही बिहार के विकास के लिए काम कर रहे हैं। बीते 20 सालों में लोगों के उत्थान के लिए कई योनजाएं चलाई गईं। इसी क्रम में अब वे कुछ नहीं घोषणाएं कर रहे हैं।
मेन्स परीक्षा में नहीं लगेगा कोई शुल्क
सीएम नीतीश ने कहा कि मेन्स यानी मुख्य परीक्षा में अभ्यर्थियों से किसी तरह का शुल्क नहीं लिया जाएगा। जबकि प्रारंभिक परीक्षा या अन्य प्रतियोगी एग्जाम में महज 100 रुपये परीक्षा शुल्क ही अभ्यर्थियों से लिया जाएगा।
उद्योग लगाने के लिए विशेष सहायता मिलेगी
गांधी मैदान के मंच से बोलते हुए सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि राज्य सरकार ने बिहार में नए उद्योग लगाने के लिए विशेष सहायता देने का फैसला लिया है। इसके तहत कारोबारियों को कैपिटल सब्सिडी, बिहार सब्सिडी, जीएसटी के लिए जो प्रोत्साहन मिलते हैं, उन्हें बढ़ाकर दो गुना कर दिया जाएगा। साथ ही नए उद्योग लगाने के लिए सरकार जमीन उपलब्ध कराएगी। उस जमीन पर अगर कोई विवाद है तो उसका तुरंत निपटारा भी कराया जाएगा। यह सुविधा अगले 4 महीने में उद्योगपतियों को दी जाएगी।
7 जिलों में नए मेडिकल कॉलेज खुलेंगे
मुख्यमंत्री ने राज्य के 7 जिलों में नए मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल खोलने की घोषणा भी की। इसके तहत किशनगंज, कटिहार, अरवल, शिवहर, रोहतास, लखीसराय और शेखपुरा जिले में नए मेडिकल कॉलेज खुलेंगे।
प्रवासी मजदूरों के लिए दिवाली-छठ पर सुविधा
सीएम ने अपने भाषण में कहा कि बिहार से बाहर रहने वाले लोगों को छठ, दिवाली जैसे पर्व पर दिल्ली, गुरुग्राम, चंडीगढ़ जैसे शहरों से बड़ी संख्या में राज्य सरकार द्वारा बसें चलाई जाएंगी। ताकि प्रवासियों को घर आने में कोई असुविधा न हो। साथ ही पर्याप्त संख्या में विशेष ट्रेनें चलाने के लिए केंद्र सरकार से अनुरोध किया जाएगा।